कविताएँ


प्रभा डोगरा, पंचकूला, मो. 9872577538


केक सातवाँ काटूँगा मैं,


पार्टी खूब मनाऊँगा मैं !!


मम्मी होंगी पापा होंगे ;


दादा दादी भी तो होंगे !


मेरे संग में होगी टोली ;


खाएँगे हम पिट्जा पेस्ट्री !!


शायद होंगे लड्डू पूड़ी,


छोले और कचौरी होगी !!


रंग बिरंगे सेट्रीमर झूलें,


छोटे मोटे फुग्गे फूलें !!!


बुआ ने भेजी है चिट्ठी ;


मासी की चॉकलेट भी मीठी !


नाचेंगे और गाएँगे हम,


डिस्को खूब दिखाएँगे हम !!!


नाना नानी ने है भेजी ;


गीतों की यह अजब पहेली!!


केक सातवाँ काटूँगा मैं ,


पार्टी खूब मनाऊँगा मैं !!!!



मेरा नाती अद्वितीय (हमारा 'अदी') अब ईश्वर कृपा से 23 वर्ष का हो गया है और आज चार्टेड अकांउंटेड की नौकरी (ट्रेनिंग) कर रहा है!! यह कविता मैंने उसके सातवें जन्मदिन पर लिखी व उसे भेजी थी !! उसका सात वर्ष की उम्र और आज 23 के नवयुवक का चित्र आप सबकी आशीष हेतु संल्गन कर रही हूँ।.....प्रभा



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